गुरुवार, 9 अप्रैल 2015

Facts related to land acquisition In Hindi

भूमि अधिग्रहण से जुड़े तथ्य

भूमि अधिग्रहण मसला

भूमि अधिग्रहण के मसले पर सरकार द्वारा लाए गए अध्यादेश के विरोध् में समाज सेवी अन्ना हजारे ने दिल्ली के जंतर-मंतर पर दो दिवसीय विरोध प्रदर्शन शुरू किया था। उन्होंने इस अध्यादेश को किसान विरोधी करार दिया था। दरअसल सरकार ने 2013 के भूमि अधिग्रहणपुर्ननिवास और पुनर्विस्थापनएक्ट में दिसंबर, 2014 में संशोधन करते हुए इससे संबंधित अध्यादेश पेश किया था। अब सदन में अध्यादेश को पास कराना सरकार के समक्ष चुनौती है। विवाद के प्रमुख बिंदुओं पर एक नजर:- 

2013 
नया कानून : यदि निजी प्रोजेक्ट के लिए भूमि अधिग्रहण से पहले संबंधित 80 प्रतिशत लोगों की ओर सार्वजनिक-निजी उपक्रम (पीपीपी) के लिए संबंधित 70 प्रतिशत लोगों की सहमति अनिवार्य।

2014 (
अध्यादेश): राष्ट्रीय सुरक्षारक्षाग्रामीण आधारभूत ढ़ाचा, औधोगिक कॉरिडोर और सामाजिक आधारभूत ढ़ाचे के लिए इस अनुमति की जरूरत नहीं होगी।
सामाजिक प्रभाव

2013 
नया कानून : हर अधिग्रहण  से पहले सामाजिक प्रभाव का आकलन अनिवार्य होगा।

2014 (
अध्यादेश): राष्ट्रीय सुरक्षारक्षाग्रामीण आधारभूतऔधोगिक
कॉरिडोर के मामले में इसकी जरूरत नहीं।
उर्वर भूमि का इस्तेमाल :-

2013 
नया कानून : बहु-फसली और उर्वर भूमि का विशेष दशाओं में अधिग्रहण किया जा सकता है।

2014 (
अध्यादेश): राष्ट्रीय सुरक्षारक्षा और ग्रामीण आधारभूत ढांचे के मामले में बहु-फसली सिंचित भूमि का इस्तेमाल किया जा सकेगा।
मुआवजा : -

2013 
नया कानून : ग्रामीण भूमि के अधिग्रहण मामले में मुआवजा बाजार कीमतों से चार गुना और शहरी जमीन के मामले में दोगुना होगा।
भूमि की वापसी

2013 
नया कानून : अगर पांच साल में प्रोजेक्ट शुरू नहीं हुए तो वह जमीन किसानों को वापस मिल जाएगी। सरकार अधिग्रहीत जमीन को दो साल के भीतर लौटाने पर पुर्नविचार कर सकती है।

2014 (
अध्यादेश): अधिग्रहण के बाद प्रोजेक्ट शुरू करने की कोई समय-सीमा निर्धारित नहीं।
अधिकारियों की भूमिका

2013 
नया कानून : यदि इस प्रक्रिया के दौरान अधिकारियों ने किसी भी मानदंड की अपेक्षा की तो उसके खिलाफ कानूनी कार्यवाई की जा सकती है।

2014 (
अध्यादेश): अदालत में मामले जाने पर संबंधित अधिकारी कार्यवाई के दायरे में नहीं आएंगेबिना अनुमति के उनके खिलाफ कोई मामला दर्ज नहीं होगा|


बहुत-बहुत धन्यवाद विहान :)

Courtesy-http://hindi.bankersadda.com/

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