1.निम्न में से किसका मूल नाम 'अली गुरशास्प' था?
A.जहाँगीर
B.शेरशाह सूरी
C.अलाउद्दीन ख़िलजी
D.औरंगज़ेब
A.जहाँगीर
B.शेरशाह सूरी
C.अलाउद्दीन ख़िलजी
D.औरंगज़ेब
Ans-C
→ अलाउद्दीन ख़िलजी (1296-1316 ई.) तक दिल्ली का सुल्तान था। वह ख़िलजी वंश के संस्थापक जलालुद्दीन ख़िलजी का भतीजा और दामाद था। सुल्तान बनने के पहले उसे इलाहाबाद के निकट कड़ा की जागीर दी गयी। अलाउद्दीन ख़िलजी का बचपन का नाम 'अली गुरशास्प' था। जलालुद्दीन ख़िलजी के तख्त पर बैठने के बाद उसे 'अमीर-ए-तुजुक' का पद मिला।
2. कृष्णदेव राय कहाँ के राजा थे?
A.बहमनी वंश के
B.चोल राजवंश के
C.विजयनगर के
D.पल्लव वंश के
→ अलाउद्दीन ख़िलजी (1296-1316 ई.) तक दिल्ली का सुल्तान था। वह ख़िलजी वंश के संस्थापक जलालुद्दीन ख़िलजी का भतीजा और दामाद था। सुल्तान बनने के पहले उसे इलाहाबाद के निकट कड़ा की जागीर दी गयी। अलाउद्दीन ख़िलजी का बचपन का नाम 'अली गुरशास्प' था। जलालुद्दीन ख़िलजी के तख्त पर बैठने के बाद उसे 'अमीर-ए-तुजुक' का पद मिला।
2. कृष्णदेव राय कहाँ के राजा थे?
A.बहमनी वंश के
B.चोल राजवंश के
C.विजयनगर के
D.पल्लव वंश के
Ans-C
→ विजयनगर साम्राज्य का विभाजन प्रान्त, राज्य या मंडल में किया गया था। कृष्णदेव राय के शासनकाल में प्रान्तों की संख्या सर्वाधिक 6 थी। प्रान्तों के गर्वनर के रूप में राज परिवार के सदस्य या अनुभवी दण्डनायकों की नियुक्ति की जाती थी। इन्हें सिक्कों को प्रसारित करने, नये कर लगाने, पुराने कर माफ करने एवं भूमिदान करने आदि की स्वतन्त्रता प्राप्त थी
→ विजयनगर साम्राज्य का विभाजन प्रान्त, राज्य या मंडल में किया गया था। कृष्णदेव राय के शासनकाल में प्रान्तों की संख्या सर्वाधिक 6 थी। प्रान्तों के गर्वनर के रूप में राज परिवार के सदस्य या अनुभवी दण्डनायकों की नियुक्ति की जाती थी। इन्हें सिक्कों को प्रसारित करने, नये कर लगाने, पुराने कर माफ करने एवं भूमिदान करने आदि की स्वतन्त्रता प्राप्त थी
3. हम्पी का खुला संग्रहालय किस राज्य में है?
A.कर्नाटक
B.राजस्थान
C.आंध्र प्रदेश
D.तमिलनाडु
Ans-A
→
श्रृंगेरी पीठ, शारदा, कर्नाटक
कर्नाटक राज्य का लगभग 2,000 वर्ष का लिखित इतिहास उपलब्ध है। कर्नाटक पर नंद, मौर्य और सातवाहन नामक राजाओं का शासन रहा। चौथी शताब्दी के मध्य से इसी क्षेत्र के राजवंशों बनवासी के कदम्ब तथा गंगों का अधिकार रहा।
→
श्रृंगेरी पीठ, शारदा, कर्नाटक
कर्नाटक राज्य का लगभग 2,000 वर्ष का लिखित इतिहास उपलब्ध है। कर्नाटक पर नंद, मौर्य और सातवाहन नामक राजाओं का शासन रहा। चौथी शताब्दी के मध्य से इसी क्षेत्र के राजवंशों बनवासी के कदम्ब तथा गंगों का अधिकार रहा।
4. अटाला मस्जिद कहाँ स्थित है?
A.गुजरात में
B.जौनपुर में
C.ख़ानदेश में
D.बंगाल में
Ans-B
→
केंद्रीय तोरण द्वार, अटाला मस्जिद, जौनपुर
जौनपुर शहर शर्क़ी वंश (1394-1479) के स्वतंत्र मुस्लिम राज्य की राजधानी था। 1559 में अकबर ने इसे जीता और 1775 में यह ब्रिटिश शासन के अंतर्गत आ गया। जौनपुर में 'अटाला मस्जिद' (1408) और 'जामी मस्जिद' (1478) समेत कई पुरानी मस्जिदें हैं। गोमती नदी पर 16वीं शताब्दी में बना एक शानदार पुल भी है।
5. किस सुल्तान ने एक नया मंत्रालय 'दीवान-ए-रियासत' (वाणिज्य मंत्रालय) की स्थापना की?
A.अलाउद्दीन ख़िलजी
B.मुहम्मद बिन तुग़लक़
C.गयासुद्दीन तुग़लक
D.फ़िरोज़शाह तुग़लक़
→
केंद्रीय तोरण द्वार, अटाला मस्जिद, जौनपुर
जौनपुर शहर शर्क़ी वंश (1394-1479) के स्वतंत्र मुस्लिम राज्य की राजधानी था। 1559 में अकबर ने इसे जीता और 1775 में यह ब्रिटिश शासन के अंतर्गत आ गया। जौनपुर में 'अटाला मस्जिद' (1408) और 'जामी मस्जिद' (1478) समेत कई पुरानी मस्जिदें हैं। गोमती नदी पर 16वीं शताब्दी में बना एक शानदार पुल भी है।
5. किस सुल्तान ने एक नया मंत्रालय 'दीवान-ए-रियासत' (वाणिज्य मंत्रालय) की स्थापना की?
A.अलाउद्दीन ख़िलजी
B.मुहम्मद बिन तुग़लक़
C.गयासुद्दीन तुग़लक
D.फ़िरोज़शाह तुग़लक़
Ans-A
→ जलालुद्दीन ख़िलजी के तख्त पर बैठने के बाद अलाउद्दीन ख़िलजी को 'अमीर-ए-तुजुक' का पद मिला। मलिक छज्जू के विद्रोह को दबाने में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाने के कारण जलालुद्दीन ने उसे कड़ा-मनिकपुर की सूबेदारी सौंप दी। आर्थिक मामलों से सम्बन्धित 'दीवान-ए-रियासत' नये विभाग की स्थापना अलाउद्दीन ख़िलजी ने की थी, जो व्यापारी वर्ग पर नियंत्रण रखता था
→ जलालुद्दीन ख़िलजी के तख्त पर बैठने के बाद अलाउद्दीन ख़िलजी को 'अमीर-ए-तुजुक' का पद मिला। मलिक छज्जू के विद्रोह को दबाने में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाने के कारण जलालुद्दीन ने उसे कड़ा-मनिकपुर की सूबेदारी सौंप दी। आर्थिक मामलों से सम्बन्धित 'दीवान-ए-रियासत' नये विभाग की स्थापना अलाउद्दीन ख़िलजी ने की थी, जो व्यापारी वर्ग पर नियंत्रण रखता था
6. निम्न में से किस महापुरुष से 'बीजक' का सम्बन्ध है?
A.सूरदास
B.कबीर
C.रैदास
D.तुलसीदास
Ans-B
→
कबीरदास
कबीरदास के समस्त विचारों में राम नाम की महिमा प्रतिध्वनित होती है। वे एक ही ईश्वर को मानते थे और कर्मकाण्ड के घोर विरोधी थे। अवतार, मूर्त्ति, रोज़ा, ईद, मस्जिद, मंदिर आदि को वे नहीं मानते थे। कबीर के नाम से मिले ग्रंथों की संख्या भिन्न-भिन्न लेखों के अनुसार भिन्न-भिन्न है। कबीर की वाणी का संग्रह `बीजक' के नाम से प्रसिद्ध है।
→
कबीरदास
कबीरदास के समस्त विचारों में राम नाम की महिमा प्रतिध्वनित होती है। वे एक ही ईश्वर को मानते थे और कर्मकाण्ड के घोर विरोधी थे। अवतार, मूर्त्ति, रोज़ा, ईद, मस्जिद, मंदिर आदि को वे नहीं मानते थे। कबीर के नाम से मिले ग्रंथों की संख्या भिन्न-भिन्न लेखों के अनुसार भिन्न-भिन्न है। कबीर की वाणी का संग्रह `बीजक' के नाम से प्रसिद्ध है।
7. वह प्राचीन नाम क्या है, जिससे पटना नगर को जाना जाता था?
A.कौशल
B.गया
C.पाटलिपुत्र
D.मगध
Ans-C
→ पटना भारत के बिहार प्रान्त की राजधानी है। पटना का प्राचीन नाम पाटलीपुत्र था। आधुनिक पटना दुनिया के गिने-चुने उन विशेष प्रचीन नगरों में से एक है, जो अति प्राचीन काल से आज तक आबाद हैं। इस शहर का ऐतिहासिक महत्त्व है। ईसा पूर्व मैगस्थनीज़ (350 ईपू-290 ईपू) ने अपने भारत भ्रमण के पश्चात लिखी अपनी पुस्तक इंडिका में इस नगर का उल्लेख किया है।
8. 'सूफ़िया कलाम', जो एक प्रकार का भक्ति संगीत है, कहाँ की विशेषता है?
A.गुजरात की
B.राजस्थान की
C.कश्मीर की
D.अलीगढ़ की
→ पटना भारत के बिहार प्रान्त की राजधानी है। पटना का प्राचीन नाम पाटलीपुत्र था। आधुनिक पटना दुनिया के गिने-चुने उन विशेष प्रचीन नगरों में से एक है, जो अति प्राचीन काल से आज तक आबाद हैं। इस शहर का ऐतिहासिक महत्त्व है। ईसा पूर्व मैगस्थनीज़ (350 ईपू-290 ईपू) ने अपने भारत भ्रमण के पश्चात लिखी अपनी पुस्तक इंडिका में इस नगर का उल्लेख किया है।
8. 'सूफ़िया कलाम', जो एक प्रकार का भक्ति संगीत है, कहाँ की विशेषता है?
A.गुजरात की
B.राजस्थान की
C.कश्मीर की
D.अलीगढ़ की
Ans-C
→
कश्मीर की घाटी
गुप्त काल में ही बौद्ध धर्म की अवनति अन्य प्रदेशों की भाति कश्मीर में भी प्रारम्भ हो गई थी और शैव धर्म का उत्कर्ष धीरे -धीरे बढ़ रहा था। शैवमत के तथा पुन:जीवित हिन्दू धर्म के प्रचार में 'अभिनवगुप्त' तथा शंकराचार्य जैसे दार्शनिकों का बड़ा हाथ था।
→
कश्मीर की घाटी
गुप्त काल में ही बौद्ध धर्म की अवनति अन्य प्रदेशों की भाति कश्मीर में भी प्रारम्भ हो गई थी और शैव धर्म का उत्कर्ष धीरे -धीरे बढ़ रहा था। शैवमत के तथा पुन:जीवित हिन्दू धर्म के प्रचार में 'अभिनवगुप्त' तथा शंकराचार्य जैसे दार्शनिकों का बड़ा हाथ था।
9. 'अनवार-ए-सुहैली' ग्रंथ किसका अनुवाद है?
A.महाभारत
B.रामायण
C.सूरसागर
D.पंचतत्र
Ans-D
10. निम्न में से किस शासक का काल 'संगमरमर का काल' कहलाता है?
A.जहाँगीर
B.औरंगजेब
C.शाहजहाँ
D.दारा शिकोह
Ans-C
→
शाहजहाँ
शाहजहाँ के बचपन का नाम 'ख़ुर्रम' था। ख़ुर्रम जहाँगीर का छोटा पुत्र था, जो छल−बल से अपने पिता का उत्तराधिकारी हुआ था। वह बड़ा कुशाग्र बुद्धि, साहसी और शौक़ीन बादशाह था। वह बड़ा कला प्रेमी, विशेषकर स्थापत्य कला का प्रेमी था। उसका विवाह 20 वर्ष की आयु में नूरजहाँ के भाई आसफ़ ख़ाँ की पुत्री 'आरज़ुमन्द बानो' से सन् 1611 में हुआ था।
→
शाहजहाँ
शाहजहाँ के बचपन का नाम 'ख़ुर्रम' था। ख़ुर्रम जहाँगीर का छोटा पुत्र था, जो छल−बल से अपने पिता का उत्तराधिकारी हुआ था। वह बड़ा कुशाग्र बुद्धि, साहसी और शौक़ीन बादशाह था। वह बड़ा कला प्रेमी, विशेषकर स्थापत्य कला का प्रेमी था। उसका विवाह 20 वर्ष की आयु में नूरजहाँ के भाई आसफ़ ख़ाँ की पुत्री 'आरज़ुमन्द बानो' से सन् 1611 में हुआ था।
11. शिवाजी का राज्याभिषेक कहाँ हुआ था?
A.रायगढ़
B.दिल्ली
C.रायचूर
D.आगरा
Ans-A
→
रायगढ़ क़िला, महाराष्ट्र
रायगढ़ पश्चिमी भारत का ऐतिहासिक क्षेत्र है। यह मुंबई (भूतपूर्व बंबई) के ठीक दक्षिण में महाराष्ट्र में स्थित है। शिवाजी का राज्याभिषेक रायगढ़ में, 6 जून, 1674 ई. को हुआ था। काशी के प्रसिद्ध विद्वान गंगाभट्ट इस समारोह के आचार्य थे। उपरान्त 1689-90 ई. में औरंगज़ेब ने इस पर अधिकार कर लिया।
12. ग्वालियर राज्य की स्थापना किसने की थी?
A.माधव राव सिंधिया
B.बालाजी बाजीराव
C.महादजी सिंधिया
D.जीवाजीराव सिंधिया
Ans-D
→
रायगढ़ क़िला, महाराष्ट्र
रायगढ़ पश्चिमी भारत का ऐतिहासिक क्षेत्र है। यह मुंबई (भूतपूर्व बंबई) के ठीक दक्षिण में महाराष्ट्र में स्थित है। शिवाजी का राज्याभिषेक रायगढ़ में, 6 जून, 1674 ई. को हुआ था। काशी के प्रसिद्ध विद्वान गंगाभट्ट इस समारोह के आचार्य थे। उपरान्त 1689-90 ई. में औरंगज़ेब ने इस पर अधिकार कर लिया।
12. ग्वालियर राज्य की स्थापना किसने की थी?
A.माधव राव सिंधिया
B.बालाजी बाजीराव
C.महादजी सिंधिया
D.जीवाजीराव सिंधिया
Ans-D
13. भारत में ईस्ट इण्डिया कम्पनी का पहला गवर्नर-जनरल कौन था?
A.लॉर्ड रिपन
B.लॉर्ड कर्ज़न
C.लॉर्ड इरविन
D.वारेन हेस्टिंग्स
Ans-D
→ 1750 ई. में वारेन हेस्टिंग्स कम्पनी के एक क्लर्क के रूप में कलकत्ता पहुँचा, और अपनी कार्यकुशलता के कारण शीघ्र ही वह कासिम बाज़ार का अध्यक्ष बन गया। 1772 ई. में इसे बंगाल का गवर्नर बनाया गया। 1773 ई. के 'रेग्युलेटिंग एक्ट' के द्वारा उसे 1774 ई. में बंगाल का गवर्नर जनरल नियुक्त किया गया।
→ 1750 ई. में वारेन हेस्टिंग्स कम्पनी के एक क्लर्क के रूप में कलकत्ता पहुँचा, और अपनी कार्यकुशलता के कारण शीघ्र ही वह कासिम बाज़ार का अध्यक्ष बन गया। 1772 ई. में इसे बंगाल का गवर्नर बनाया गया। 1773 ई. के 'रेग्युलेटिंग एक्ट' के द्वारा उसे 1774 ई. में बंगाल का गवर्नर जनरल नियुक्त किया गया।
14. भारत के समुद्री मार्ग की खोज किसने की?
A.कोलम्बस
B.मैंगलेन
C.टॉमस मूर
D.वास्को द गामा
Ans-D
→
वास्को द गामा
वास्को द गामा एक पुर्तग़ाली नाविक थे। वास्को द गामा के द्वारा की गई भारत यात्राओं ने पश्चिमी यूरोप से केप ऑफ़ गुड होप होकर पूर्व के लिए समुद्री मार्ग खोल दिए थे। इन्होंने विश्व इतिहास के एक नए युग की शुरुआत की थी। यह यूरोपीय खोज युग के सबसे सफल खोजकर्ताओं में से एक, और यूरोप से भारत सीधी यात्रा करने वाले जहाज़ों के कमांडर थे।
15. 'बड़ा इमामबाड़ा' कहाँ स्थित है?
A.आगरा
B.लखनऊ
C.अजमेर
D.इलाहाबाद
→
वास्को द गामा
वास्को द गामा एक पुर्तग़ाली नाविक थे। वास्को द गामा के द्वारा की गई भारत यात्राओं ने पश्चिमी यूरोप से केप ऑफ़ गुड होप होकर पूर्व के लिए समुद्री मार्ग खोल दिए थे। इन्होंने विश्व इतिहास के एक नए युग की शुरुआत की थी। यह यूरोपीय खोज युग के सबसे सफल खोजकर्ताओं में से एक, और यूरोप से भारत सीधी यात्रा करने वाले जहाज़ों के कमांडर थे।
15. 'बड़ा इमामबाड़ा' कहाँ स्थित है?
A.आगरा
B.लखनऊ
C.अजमेर
D.इलाहाबाद
Ans-B
→
बड़ा इमामबाड़ा, लखनऊ
लखनऊ प्राचीन कौशल राज्य का हिस्सा था। इसे भगवान राम ने अपने भाई लक्ष्मण को सौंप दिया था। इसे 'लक्ष्मणावती', 'लक्ष्मणपुर' या 'लखनपुर' के नाम से भी जाना गया, जो बाद में बदल कर लखनऊ हो गया। कला और संस्कृति के संरक्षक अवध के नवाबों के शासनकाल में की गई मुग़ल चित्रकारी आज भी कई संग्रहालयों में है। बड़ा इमामबाड़ा, छोटा इमामबाड़ा, तथा रूमी दरवाज़ा मुग़ल वास्तुकला के अद्भुत उदाहरण हैं।
→
बड़ा इमामबाड़ा, लखनऊ
लखनऊ प्राचीन कौशल राज्य का हिस्सा था। इसे भगवान राम ने अपने भाई लक्ष्मण को सौंप दिया था। इसे 'लक्ष्मणावती', 'लक्ष्मणपुर' या 'लखनपुर' के नाम से भी जाना गया, जो बाद में बदल कर लखनऊ हो गया। कला और संस्कृति के संरक्षक अवध के नवाबों के शासनकाल में की गई मुग़ल चित्रकारी आज भी कई संग्रहालयों में है। बड़ा इमामबाड़ा, छोटा इमामबाड़ा, तथा रूमी दरवाज़ा मुग़ल वास्तुकला के अद्भुत उदाहरण हैं।
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